Tuesday, 18 October 2022
Tuesday, 11 October 2022
मंसूरी फैडरेशन ऑफ इंडिया ने लालू प्रसाद को सम्मान पत्र दे ईश्वर से उनके स्वस्थ की कामना की
मो. रियाज़
नई दिल्ली। राष्ट्रीय जनता दल के राष्ट्रीय अध्यक्ष व बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव से दिल्ली के पंडारा पार्क स्थित उनकी बेटी सांसद मीसा भारती के निवास पर मंसूरी फैडरेशन ऑफ इंडिया का एक दल राष्ट्रीय अध्यक्ष मेहंदी हसन मंसूरी व नेशनल जनरल सेक्रेटरी नियाज़ अहमद उर्फ पप्पू मंसूरी के साथ मिलने पहुंचा। मंसूरी फैडरेशन ऑफ इंडिया का यह दल लालू प्रसाद यादव के घर इसलिए पहुंचा था क्योंकि मंसूरी समाज की शान इस्राइल मंसूरी को बिहार सरकार में राजद ने अपने कोटे से सूचना एवं प्रौद्योगिकी मंत्री बनाया है।
इस्राइल मंसूरी को बिहार सरकार में मंत्री बनाए जाने पर मंसूरी फेडरशन ऑफ इंडिया ने लालू प्रसाद यादव से मिल उन्हें धन्यवाद देकर एक सम्मान पत्र दिया सम्मान पत्र में लालू प्रसाद यादव के लिए लिखा कि महाशय आप देश के महान नेता हैं और आपसे बड़ा कोई सेकुलर नेता नहीं है, आपने वंचित समाज को हमेशा न्याय दिलाया है, साथ ही सत्ता में हिस्सेदारी दी है। हमारे मंसूरी समाज की पूरे देश में 5% और मुस्लिम कौम में 20% की हिस्सेदारी है। इसके चलते आपने पहली बार मंसूरी बिरादरी के जनाब इस्राइल मंसूरी को कांटी विधानसभा से टिकट दिया और उन्हें आपकी वजह से जीत तो मिली ही आपने उन्हें बिहार सरकार में सूचना एवं प्रौद्योगिकी मंत्री भी बनाया जिसके लिए मंसूरी समाज आपका बहुत आभारी है और हमेशा आभारी रहेगा। मंसूरी फेडरेशन ऑफ इंडिया आपके जज्बे को सलाम करता है और आशा करता है की भविष्य में आपका साथ सदैव मिलता रहेगा।मंसूरी फैडरेशन ऑफ इंडिया के राष्ट्रीय महासचिव नियाज अहमद उर्फ पप्पू मंसूरी ने कहा कि लालू प्रसाद जी की तबीयत ठीक नहीं होने के कारण उनसे लंबी बातचीत नहीं हो सकी पर उन्होंने पूरे मंसूरी समाज को ऐसे ही कार्य करने के लिए कहा जैसे इस्राइल मंसूरी आपने कार्यक्षेत्र के साथ ही अपने समाज के लोगों को लेकर चल रहे हैं।
पप्पू मंसूरी ने आगे बताया कि इस मौके पर मंसूरी समाज की आन बान शान इस्राइल मंसूरी भी साथ थे। इस दल का नेतृत्व मंसूरी फैडरेशन ऑफ इंडिया के नेशनल प्रेसिडेंट महेंदी हसन ने किया। उनके साथ नेशनल जनरल सेक्रेटरी नियाज़ अहमद उर्फ पप्पू मंसूरी, दिल्ली प्रदेश मीडिया प्रभारी यूसुफ मंसूरी, सेक्रेटरी अब्दुल रहमान, इनाम मंसूरी, जनाब आर डी खान साहब, संगम बिहार टीम से बशारत मंसूरी, रशीद मंसूरी, इशाक मंसूरी। गांधी नगर विधान सभा से इसाक मंसूरी, नौशाद मंसूरी, नबीजन मंसूरी, दीपक शर्मा, सदरे आलम, मंसूरी के अलावा काफी तादात में मंसूरी समाज के लोग शामिल थे।
मंसूरी फैडरेशन ऑफ इंडिया के राष्ट्रीय अध्यक्ष मेहंदी हसन मंसूरी ने लालू प्रसाद यादव को इस्राइल मंसूरी को कांटी विधानसभा से टिकट देने और उन्हें बिहार सरकार में सूचना एवं प्रौद्योगिकी मंत्री बनने के लिए आभार जताया और उनके जल्द स्वस्थ होने की ऊपर वाले से प्रार्थना की।achments area
Monday, 10 October 2022
करीब 2 महीने से पत्नी की तलाश में भटक रहा है पति, पुलिस अफसरों से पति ने लगाई गुहार - बच्ची को उसकी मां से मिलवा दो
Sunday, 9 October 2022
राजनीति अखाड़े के खिलाड़ी मुलायम सिंह यादव मौत को नहीं दे सके पटखनी
उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और समाजवादी पार्टी के सरंक्षक मुलायम सिंह यादव का निधन हो गया है. उन्होंने 82 साल की उम्र में गुरुग्राम के मेदांता अस्पताल में आज (10 अक्टूबर) सुबह 8:16 बजे आखिरी सांस ली. मुलायम सिंह यादव को 22 अगस्त को सांस लेने में तकलीफ और लो ब्लड प्रेशर की शिकायत के बाद मेदांता अस्पताल में भर्ती कराया गया था, हालांकि उनकी तबीयत में सुधार नहीं हो रहा था और 1 अक्टूबर की रात को आईसीयू में शिफ्ट किया गया था, जहां एक डॉक्टरो का पैनल उनका इलाज कर रहा था.
मजाल नहीं जो उनकी गिरफ़्त से कोई अपने आपको छुड़ा ले---कहा जाता है कि मुलायम सिंह यादव की जवानी के दिनों में अगर उनका हाथ अपने प्रतिद्वंदी की कमर तक पहुँच जाता था, तो चाहे वो कितना ही लंबा या तगड़ा हो, उसकी मजाल नहीं थी कि वो अपने-आप को उनकी गिरफ़्त से छुड़ा ले.आज भी उनके गाँव के लोग उनके 'चर्खा दाँव' को नहीं भूले हैं, जब वो बिना अपने हाथों का इस्तेमाल किए हुए पहलवान को चारों ख़ाने चित कर देते थे.
मुलायम सिंह यादव के चचेरे भाई प्रोफ़ेसर राम गोपाल ने एक बार बीबीसी को बताया था, "अखाड़े में जब मुलायम की कुश्ती अपने अंतिम चरण में होती थी तो हम अपनी आंखें बंद कर लिया करते थे. हमारी आंखें तभी खुलती थीं जब भीड़ में से आवाज़ आती थी, 'हो गई, हो गई' और हमें लग जाता था कि हमारे भाई ने सामने के पहलवान को पटक दिया है." अध्यापक बनने के बाद मुलायम ने पहलवानी करनी पूरी तरह से छोड़ दी थी. लेकिन अपने जीवन के आख़िरी समय तक वो अपने गाँव सैफई में दंगलों का आयोजन कराते रहे.
जुलाई में पत्नी साधना गुप्ता का हुआ था निधन---इससे पहले मुलायम सिंह यादव की पत्नी साधना गुप्ता का इसी साल जुलाई में निधन हो गया था. फेफड़ों में संक्रमण के चलते उनका गुरुग्राम के एक निजी अस्पताल में इलाज के बाद निधन हुआ था. साधना मुलायम सिंह यादव की दूसरी पत्नी थीं. उनकी पहली पत्नी मालती देवी का 2003 में निधन हो गया था. मालती देवी अखिलेश यादव की मां थीं.
1992 में की सपा की स्थापना---मुलायम सिंह यादव का जन्म 22 नवंबर 1939 को हुआ था. पांच भाइयों में मुलायम तीसरे नंबर पर थे. मुलायम सिंह ने पहलवानी से अपना करियर शुरू किया. वह पेशे से अध्यापक रहे. उन्होंने कुछ समय तक इंटर कॉलेज में अध्यापन किया. पिता उन्हें पहलवान बनाना चाहते थे. फिर अपने राजनीतिक गुरु नत्थू सिंह को प्रभावित करने के बाद मुलायम सिंह यादव ने जसवंतनगर विधानसभा सीट से चुनावी अखाड़े से कदम रखा. वह 1982-1985 तक विधान परिषद के सदस्य रहे.
लोहिया आंदोलन---लोहिया आंदोलन में बढ़-चढ़कर हिस्सा लेने वाले मुलायम सिंह यादव ने चार अक्टूबर 1992 में समाजवादी पार्टी की स्थापना की. मुलायम सिंह यादव को राजनीति के अखाड़े का पहलवान कहा जाता था. वह प्रतिद्वंद्वियों को चित करने के माहिर रहे. देश के सबसे बड़े सूबे उत्तर प्रदेश की राजनीति में उन्होंने वो ऊंचाई हासिल की जो किसी भी नेता के लिए सपना होता है. उन्होंने तीन बार राज्य की कमान संभाली. वह देश के रक्षा मंत्री भी बने. उत्तर प्रदेश विधानसभा के वह आठ बार सदस्य रहे.
मुलायम सिंह यादव के राजनीतिक करियर पर एक नजर...
साल 1967 में मुलायम सिंह पहली बार विधायक बने. इसके बाद 5 दिसंबर 1989 को पहली बार प्रदेश के मुख्यमंत्री बने. मुलायम ने अपना राजनीतिक अभियान जसवंतनगर विधानसभा सीट से शुरू किया. वह सोशलिस्ट पार्टी, प्रजा सोशलिस्ट पार्टी से आगे बढ़े. 1967, 1974, 1977, 1985, 1989 में वह विधानसभा के सदस्य रहे. मुलायम सिंह 1989, 1993 और 2003 में यूपी के सीएम रहे. वह लोकसभा के सदस्य भी रहे.
1996 के चुनाव में जीतकर वह पहली बार संसद पहुंचे. इसके बाद 1998 में वह जीत हासिल किए. 1999 के चुनाव में भी उनकी जीत का सिलसिला जा रही. 2004 में वह मैनपुरी से लोकसभा चुनाव जीते. 2014 में वह आजमगढ़ संसदीय सीट और मैनपुरी से चुनाव लड़े और दोनों जगह से ही जीत हासिल किए. सपा के इस दिग्गज नेता की जीत का सिलसिला 2019 के चुनाव में भी जारी रहा और मैनपुरी से जीतकर एक बार फिर संसद पहुंचे.
--मो. रियाज
अलौली प्रखंड के साहसी पंचायत के खानकाह फरीदिया जोगिया शरीफ में पूरी शानों-शौकत से निकाला गया जुलूस-ए-मोहम्मदी
Thursday, 6 October 2022
खानकाह फरीदिया जोगिया शरीफ की अपील सौहार्दपूर्ण माहौल में मनाया जाएगा जश्न ईद मिलादुन्नबी
इस्लाम धर्म के संस्थापक हजरत मोहम्मद के जन्मदिवस ईद मीलादुन्नबी के उपलक्ष्य में खानकाह फरीदिया जोगिया शरीफ की ओर से शुक्रवार की रात मिलाद कांफ्रेंस हुई।
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मुसर्रत टाइम्स व मुसर्रत टाइम्स लाइव टीम our member (Last Update 19-01-2022) S. No. Photo Name/Father’s/...